
सच्चा है माँ का दरबार,मैय्या का जवाब नहीं।
मैय्या है मेरी शेरोवाली,शानहै माँ की बडी निराली।
सच्चा है 💐💐💐💐💐💐💐💐💐।
ऊँचे पर्वत भवन निराला,भवन मे देखो शेर विशाला।
शेर पे है मैय्या जी सवार।मैया का 💐💐💐💐💐।
माथे की बिंदिया चम चम चमके,हाथो का कंगना खन खन खनके।
लाल गले मे हार,मैया का 💐💐💐💐💐💐💐।
माँ है दुर्गा माँ है काली,भक्तों की झोली भरने वाली।करती है
बेड़ा पार, मैया का 💐💐💐💐💐💐💐💐💐।
नंगे पैरो अकबर आया,सोने का माँ छत्र चढाया।दूर किया
अहंकार।मैया का 💐💐💐💐💐💐💐💐💐।
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