बिना पिए नशा हो जाता है जो राधे राधे गाता है।

जो राधे राधे गाता है जो राधे राधे गाता है।

बिना पिए नशा💐💐💐💐💐💐💐💐।

जिसके अंदर मन भाव बडा।

वो ही ऊची अटारी की सीढी चढा।

उसे गोपी बना लिया जाता है 

जो राधे राधे गाता है।

जो राधे राधे💐💐।बिना पिए नशा💐💐💐।

बरसाना तेरा रंगीला है ।

सब राधा नाम की लीला है।

भगवान भी चरण दबाता है

जो राधे राधे गाता है।

जो राधे राधे💐💐।बिना पिए नशा💐💐💐।

रस पीने का तु इरादा तो कर मेरे

बाकेबिहारी से वादा तो कर।

वो खुद ही पिलाने चला आता है

जो राधे राधे गाता है।

जो राधे राधे💐💐।बिना पिए नशा💐💐💐।

जो रस ना मिले महखाने मे।

मिलता है वो बरसाने मे।

फिर और कही ना जाता है

जो राधे राधे गाता है।

जो राधे राधे💐💐।बिना पिए नशा💐💐💐।


0 Comments

Leave a Reply

Avatar placeholder

Your email address will not be published. Required fields are marked *