
ये प्रसाद चाखो प्रभु ये अमृत हो जाए।
अमृत भोजन चाख के तेरी दासी अमर हो जाए।
दाता के दरबार मे सभी खड़े हाथ जोड़।
देने वाला एक है मांगे लाख करोड़।
प्रभु इतना धन दिजिए जामे कुटुंब समाए।
मै भी भूखा ना रहु तेरा दास ना भूखा जाए।
आदि अंत भगवान को मेरी बार बार प्रणाम।
जिनकी कृपा दृष्टि से मेरा मन पावे विश्राम।
सियावर राम जय जय राममेरे प्रभु राम जय जय राम।
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