घण्टा का घाघरा लाई हे मिन्टा का लाई कमीज।

बिजली की चुन्दड़ी लाई हे घुंघट पै पहरेदार।

मै काले सैण्डैल लाई है मस्तानी लाई जुराब।

मै दम दम महला चढ गई हे पाछे तै चढा भरतार।

गौरी चौपड़ चार बिछाले रै खेलैंगे बाजी चार।

नहले पै दहला मारा हे मैंने जीत लिया भरतार।

गौरी एकबार बाजी खेलिये रै मेरा और कितै था ध्यान।

बेगम पै बादशाह मारा हे मैंने दो बार जीता भरतार।

मेरे दोनों हाथ पकड़ कै हे मेरै मारे रहपटे चार।

मै दम दम तलै उतर आई हे मेरी सासु बुझै बात।

मेरी फुलझड़ी सी बेटी हे तु किस विद हुई उदास।

घेरा मै सानी भेउ थी हे बछड़े नै मार दई लात।

बेटा इस बछड़े नै बेच दे रै म्हारी बहु कै मारी लात।

माता बछड़े का दोष नहीं सै हे वैन धरा पूत पै हाथ।

नोहरा मै बैठ के रोया हे मत लाइयो सुहासन नार।

सखिया मै बैठ के हसं रही हे मैंने दो बार जीता भरतार।

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