
हे यो कृष्ण गऊ चरावै हे बजावै बंशी।
हे या जल भरने को आई हे मस्तानी गुजरी।
हे वैन पीती गऊ हटाई हे तोड़ आई बंशी।
हे वैकी इंडई जल मै फैकी हे तोड़ आयो मटकी।
हे माता कृष्ण नै समझा ले हे फोड़ आयो मटकी।
हे वैनै सांझ पड़ा घर आवनै दे तोड़ुंगी लकड़ी।
हे इतना मै कृष्ण आ गयो बजाई बंशी।
अरै तैनै बार बार समझाऊ रै क्यु तोड़ी मटकी।
हे माता पीती गऊ हटाई हे तोड़ आई बंशी।
हे अकी इंडई जल मै फैकी हे तोड़ आयो मटकी।
हे मेरो सात साल को कानुड़ो मस्तानी गुजरी।
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